ईडी की जांच में सामने आया कि इस केस में करीब 988 करोड़ रुपये की काली कमाई हुई है. इसी वजह से 20 नवंबर 2023 को AJL की संपत्तियां और शेयर अटैच किए गए थे, जिनकी कीमत करीब ₹751 करोड़ है. यह कार्रवाई अब अधिकृत अदालत की ओर से 10 अप्रैल 2024 को मंजूर हो गई है.
सुब्रमण्यम स्वामी ने सोनिया और राहुल गांधी पर लगाए आरोप
इस पूरे मामले की शुरुआत डॉ. सुब्रमण्यम स्वामी की एक शिकायत से हुई थी, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया कि सोनिया गांधी, राहुल गांधी और उनके साथियों ने सिर्फ 50 लाख रुपये देकर AJL की 2000 करोड़ की संपत्ति हड़प ली. जब इस मामले की जांच की गई तो यह भी सामने आया है कि फर्जी डोनेशन, झूठा किराया और बनावटी विज्ञापनों के जरिए 85 करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम भी इधर-उधर की गई. अब ईडी ने इन संपत्तियों पर कब्जा लेने के लिए नोटिस चिपका दिए हैं और इनका कब्जा लेने की प्रक्रिया शुरू कर दी है.
ईडी की जांच में क्या हुआ खुलासा
एजेंसी के मुताबिक, एजेएल-यंग इंडियन नेटवर्क का कथित तौर पर फर्जी डोनेशन के जरिए 18 करोड़ रुपये, 38 करोड़ रुपये का एडवांस किराया और विज्ञापनों के जरिए 29 करोड़ रुपये का अवैध धन जुटाने के लिए इस्तेमाल किया गया. अधिकारियों ने बताया कि नवीनतम कदम का उद्देश्य दूषित परिसंपत्तियों के निरंतर उपभोग, उपयोग और आगे उत्पादन को रोकना है.