सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार (4 नवंबर, 2025) को मौखिक रूप से संकेत दिया कि नियमित प्रतियोगिताओं और टूर्नामेंटों को ऑनलाइन गेमिंग संवर्धन एवं विनियमन अधिनियम, 2025 के दायरे से बाहर रखा जा सकता है क्योंकि वे ‘सट्टेबाजी और जुआ’ की परिभाषा के अंतर्गत नहीं आते हैं। 2025 का यह कानून असली पैसे वाले खेलों, संबंधित बैंकिंग सेवाओं और विज्ञापनों पर प्रतिबंध लगाता है।

